मंगल (मांगलिक) दोष निवारण पूजा
मांगलिक दोष क्या है? जब कुंडली में मंगल पहले,चौथे,सातवें,आठवें या बारहवें भाव में होता है, तो मांगलिक दोष होता है। बता दें कि सातवां घर विवाह का घर होता है। ऐसे में जब मंगल इनमें से किसी भी भाव में होता है, तो इसका प्रभाव विवाह भाव पर पड़ता है Iज्योतिष शास्त्र में बताया गया है कि इसका कारण कुंडली के सातवें भाव को विवाह या वैवाहिक जीवन का माना जाता है, और इस भाव में मंगल का होना अशुभ होता है. मांगलिक दोष शारीरिक क्षमताओं में कमी, क्षीण आयु, रोग द्वेष और कलह-क्लेश को जन्म देता है. व्यक्ति का स्वभाव गुस्सैल और अहंकारी हो जाता है I
मान्यता है कि मंगल के खराब होने पर व्यक्ति को नेत्र रोग, ब्लड प्रेशर,फोड़े-फुंसी या पथरी की समस्या हो सकती है। मंगल के कमजोर होने पर व्यक्ति को आर्थिक समस्याएं भी बढ़ने लगती हैं। इससे कर्ज और जमीन-जायदाद को लेकर विवाद से जुड़ी दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है।
हमारे वैदिक पंडित पूजा के दौरान आपके नाम और गोत्र का उच्चारण करेंगे। आपको पूजा की लाइव स्ट्रीमिंग का नोटिफिकेशन और रिकॉर्डेड वीडियो प्रदान किया जाएगा। इसके साथ, आपको चयनित पूजा का विवरण और आपके नाम सहित एक प्रमाणपत्र भी प्रदान किया जाएगा। हमारी सेवाओं में केवल अनुभवी एवं योग्य वैदिक पंडितों द्वारा ही पूजा कराई जाती है। इसके अतिरिक्त, पूजा का प्रसाद आपको घर पहुंच सेवा के माध्यम से भेजा जाएगा।
मंगल दोष निवारण पूजा का उद्देश्य
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वैवाहिक जीवन में सुख और शांति लाना।
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मांगलिक दोष के कारण आने वाली समस्याओं का निवारण करना।
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वैवाहिक संबंधों में सामंजस्य और प्रेम को बढ़ाना।
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मंगल ग्रह से जुड़े नकारात्मक प्रभावों को कम करना।
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परिवारिक जीवन को सुखमय बनाना।
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जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और सौभाग्य की प्राप्ति के लिए मंगल देव की कृपा प्राप्त करना।
इस पूजा के दौरान विशेष मंत्रों का जाप, हवन, और मंगल ग्रह की शांति के लिए विशेष अनुष्ठान किए जाते हैं, जिससे मंगल ग्रह के नकारात्मक प्रभावों को कम किया जा सके।
मंगल दोष निवारण पूजा के प्रभाव
मंगल दोष निवारण पूजा का मुख्य उद्देश्य व्यक्ति के जीवन में मंगल ग्रह के कारण उत्पन्न समस्याओं को शांत करना और शुभ फल प्रदान करना होता है। इसके प्रभाव निम्नलिखित हो सकते हैं:
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वैवाहिक जीवन में सुधार: मंगल दोष के कारण वैवाहिक जीवन में होने वाले तनाव और विवाद कम होते हैं। यह पूजा वैवाहिक संबंधों में सामंजस्य, प्रेम और स्थिरता लाने में मदद करती है।
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विवाह में देरी को दूर करना: जिन व्यक्तियों के विवाह में लगातार देरी हो रही हो, उनके लिए यह पूजा शुभ मानी जाती है। यह कुंडली के दोषों को शांत कर विवाह में आने वाली बाधाओं को दूर करती है।
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स्वास्थ्य में सुधार: मंगल दोष से होने वाली स्वास्थ्य समस्याएं, जैसे रक्तचाप, सर्जरी या दुर्घटनाओं की संभावना कम होती है। इस पूजा से व्यक्ति के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य में सुधार होता है।
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आर्थिक समस्याओं का समाधान: मंगल दोष से जुड़े आर्थिक संकट, धन हानि या निवेश में नुकसान को कम करने में यह पूजा सहायक होती है। यह पूजा समृद्धि और आर्थिक स्थिरता लाती है।
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गुस्से और आक्रामकता में कमी: मंगल दोष के प्रभाव से व्यक्ति में गुस्सा और आक्रामकता बढ़ सकती है। इस पूजा के माध्यम से व्यक्तित्व में संतुलन आता है, और व्यक्ति अधिक शांत और संयमित रहता है।
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सकारात्मक ऊर्जा और सौभाग्य: यह पूजा व्यक्ति के जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और सौभाग्य लाती है। यह पूजा मंगल ग्रह की कृपा प्राप्त कर जीवन के हर क्षेत्र में सफलता और संतुलन प्रदान करती है।
मंगल दोष निवारण पूजा के इन सकारात्मक प्रभावों से व्यक्ति के जीवन में सुख, शांति, समृद्धि और संतुलन की प्राप्ति होती है।